jalandhar, January 31, 2020
नई दिल्ली (प्रतिवचन ब्यूरो)
राहुल बजाज (Rahul Bajaj) अब बजाज ऑटो (Bajaj Auto) के एग्जीक्यूटिव चेयरमैन का पद छोड़ेंगे. उनका कार्यकाल 31 मार्च 2020 को खत्म हो रहा है. इसके बाद राहुल बजाज नॉन एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर की भूमिका में आ जाएंगे, यानी ग्रुप के फैसलों में उनका सीधा दखल नहीं होगा. बजाज ऑटो ने गुरुवार को यह जानकारी दी.
बोर्ड ने उन्हें अप्रैल 2015 में एग्जीक्यूटिव चेयरमैन नियुक्त किया था. उनका कार्यकाल 5 साल का था. कंपनी ने बताया कि कुछ प्रतिबद्धताओं की वजह से उन्होंने कंपनी के पूर्णकालिक डायरेक्टर के रूप में काम नहीं करने का फैसला लिया.
बता दें कि राहुल बजाज ने साल 1965 में बजाज समूह की जिम्मेदारी संभाली थी. उनकी अगुआई में ही बजाज ऑटो का टर्नओवर 7.2 करोड़ से 12 हजार करोड़ तक पहुंच गया था. इसके बाद यह स्कूटर बेचने वाली देश की अग्रणी कंपनी बन गई थी. 2005 में राहुल ने बेटे अपने राजीव को कंपनी की कमान सौंपनी शुरू की थी. तब उन्होंने राजीव को बजाज ऑटो का मैनेजिंग डायरेक्टर बनाया था, जिसके बाद ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री में कंपनी के प्रोडक्ट की मांग न सिर्फ घरेलू बाजार में, बल्कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी बढ़ गई.
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